सहज भाव से पेंटिंग में बैठे हैं प्रभु यीशु
द गुड शेफर्ड मोजेक की बात करें तो ये एक रंग-बिरंगी पेंटिंग है। इसमें प्रभु यीशु को चरवाहे के रूप में दिखाया गया है जो भेड़ों की देखरेख कर रहे हैं। उनकी यह पहचान मानवता के प्रति उनकी करुणा, प्रेम और मार्गदर्शन के प्रतीक के रूप में देखी जाती है। यह मोजेक रोमन पेंटिंग उस शैली का प्रतिनिधित्व करता है जो चौथी और पांचवीं शताब्दी के दौरान विकसित हुई थी। इस इमारत में ऐसे कई तरह की धार्मिक पेंटिंग्स मौजूद हैं जिसमें प्रभु यीशु बड़े ही सहज भाव से बैठे हैं।
साधारण ईंट जैसी दिखती है इमारत
गाला प्लासिडिया इमारत (Galla Placidia History) की बात करें तो ये बाहर से देखने में एक साधारण ईंट की इमारत जैसा ही दिखता है। हालांकि इमारत के अंदर अनमोल मोजेक कला का खजाना छिपा हुआ है। इस इमारत का आकार क्रॉस जैसा है। इसके गुंबद के नीचे और दीवारों पर सुंदर मोजेक पेंटिंग्स बनी हुई हैं। द गुड शेफर्ड मोजेक पेंटिंग इसी इमारत में है।
विश्व धरोहर स्थल में शामिल
इस इमारत में प्रकाश की इतनी अच्छी व्यवस्था है कि पेंटिंग्स की खूबसूरती निखरकर सामने आती है। गुंबद सितारों से सजे आसमान का प्रतीक है, जो आध्यात्मिकता का अनुभव कराता है। आज ये गाला प्लासिडिया इमारत इटली आने वाले पर्यटकों के लिए एक आकर्षण का केंद्र है। आपको बता दें कि 1996 में इस इमारत को UNESCO ने विश्व धरोहर स्थल (UNESCO World Heritage Site) की सूची में शामिल किया था।